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तपती धूप में भी आधा किलोमीटर दूर से पानी लाने को मजबूर महिलाएं

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लोक टुडे न्यूज नेटवर्क

गौतम शर्मा
राजसमंद

 

गांव में चार में से तीन हैंडपंप खराब टंकी हुई नकारा,

हाईवे किनारे हैंडपंप होने से सड़क दुर्घटना का बना रहता है खतरा,

चुनाव के समय जनप्रतिनिधि पानी की समस्या पर ले लेते हैं वोट,

कुंवारिया के पास रावों का खेड़ा बंजारा बस्ती का मामला,

राजसमंद। के कुंवारिया थाना क्षेत्र के पास टोल नाके के पास स्थित रावो का खेड़ा बंजारा बस्ती में भीषण गर्मी में भी आधा किलोमीटर तक महिलाएं सिर पर पानी लाने को मजबूर है। इसका कारण है इस बस्ती में कुल चार हैंडपंप है जिनमें से तीन नकारा पड़े हुए हैं। राजसमंद भीलवाड़ा मार्ग पर लगा केवल एक हैंड पंप पूरी बस्ती की प्यास बुझा रहा है। जिसमें भी अब पानी कम होने लगा है। डेढ़ सौ घरों की बस्ती के ग्रामीणों को चिंता इस बात की भी है कि गर्मी की शुरुआत में यह हाल है तो गर्मी बढ़ने पर पानी की व्यवस्था कहां से होगी। ग्रामीण,युवा,बच्चे और महिलाये सभी सुबह 3 बजे से रात्रि 9 बजे तक पानी भरने का काम करते हैं। सबसे बड़ी परेशानी इस बात को लेकर है कि यह हैंडपंप हाईवे के ठीक किनारे लगा हुआ है जहां पानी भरने जाती महिलाओं को आने जाने वाले तेज रफ्तार वाहनों से सड़क दुर्घटना का खतरा बना रहता है। महिलाओं के साथ बच्चे भी पानी भरने आते हैं और हैंडपंप पर भीड़ होने के कारण कभी भी कोई वहां से दुर्घटना हो सकती है। जलदाय विभाग विभाग द्वारा एक टंकी 15 वर्ष पूर्व बनवाई गई थी।जिसमें ना तो पानी का कनेक्शन है और गांव में लगी पाइपलाइन पूरी तरह से टूटी-फूटी हालत में है। बस्ती वासियों का आक्रोश प्रशासन एवं जनप्रतिनिधियों के खिलाफ भी है। विधायक सरपंच और अन्य जनप्रतिनिधि चुनाव के समय आते हैं और 15 दिनों में पानी की व्यवस्था सुचारु करने का आश्वासन देकर वोट मांग लेते हैं। चुनाव जीतने के बाद कोई भी यहां पानी की समस्या को लेकर बात तक नहीं करता। यहां तक की घाटी पंचायत की वार्ड पंच खुद सिर पर पानी लेकर आती नजर आई। उनका कहना है कि इस मुद्दे को पंचायत की कोरम में उठाया गया था। लेकिन फिर भी कोई समाधान नहीं हो पाया। पानी की समस्या से त्रस्त बंजारा बस्ती वासियों ने अब अगले चुनाव का बहिष्कार करने का मन बना लिया है।

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