पायलट बोले ERCP मुद्दे पर केंद्र सरकार ने की वादा खिलाफी
धारीवाल बोले गजेंद्रसिंह के बयान से उनके सरकार गिराने की साजिश में शामिल होने का पर्दाफाश हुआ
जयपुर। केंद्रीय मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत के एक बयान से राजस्थान की ठंडी पड़ी सियासत में गर्मी आ गई है। गजेंद्र सिंह ने एक बयान में कहा कि यदि मध्यप्रदेश के कांग्रेस विधायकों की तरह राजस्थान में भी सचिन पायलट ने हमारी बात मान ली होती तो यहां भी हालात दूसरे होते। पायलट से इस मामले में चूक हो गई । राजस्थान के विधायक मध्यप्रदेश जैसा फैसला नहीं ले पाए । वहीं गजेंद्र सिंह के इस बयान पर सचिन पायलट ने पलटवार किया है जनता सब समझ गई है, अब वह आपके झांसे में नहीं आने वाली, झूठे वादों में नहीं फंसेगी। दरअसल ये बयान गजेंद्र सिंह शेखावत ने चौमूं में आयोजित एक कार्यक्रम में दिया था। गजेंद्र सिंह ने कहा कि राजस्थान में सचिन पायलट से चूक हो गई यदि वे 2020 में मध्यप्रदेश के कांग्रेस विधायकों ने जो फैसला किया था उसी तरह राजस्थान में हो गया होता तो आज 13 जिलों में ERCP लागू हो जाती।
पायलट ने लिया आड़े हाथ
वहीं सचिन पायलट ने कहा की राजस्थान ईस्टर कैनाल प्रोजेक्ट में बीजेपी ने राजस्थान के साथ वादाखिलाफी की है। वे अपनी विफलता का ठीकरा जनता पर फोड़ना चाहते हैं । उन्होंने कहा कि राजस्थान के मंत्री होने के बावजूद शेखावत अपने गृह राज्य की मांग पूरी नहीं कर पा रहे ,जबकि प्रधानमंत्री ने मंच से घोषणा की थी कि ईआरसीपी प्रोजेक्ट को शुरू किया जाएगा। सरकार की कमी को दूर करने के बजाय उस गलती को छुपाने के लिए मंत्री जुटे हुए हैं । गलती तो जनता से हो गई कि वह बीजेपी के झूठे झांसे में आ गई । केंद्रीय मंत्री तोते की तरह झूठा प्रचार करने में लगे हैं। पायलट ने कहा कि पहले कृषि बिल पर पूरी तरह सरकार ने तोते की तरह उसे अच्छा बता रही थी बाद में माफी मांग ली। अब अग्नीपथ योजना में भी सरकार युवाओं के साथ छलावा कर रही है । इसको लेकर जनता में आक्रोश है। राजस्थान में कांग्रेस की सरकार है केंद्रीय जल संसाधन मंत्री को बड़ा दिल रखते हुए प्रदेश के हित उऩ्हें ईआरसीपी को लागू करने की पहल करनी चाहिए न की राजनीति करनी चाहिए।
गजेंद्र सिंह के बयान से साफ हुआ वे सरकार गिराने की साजिश में शामिल थे
शांति धारीवाल गजेंद्र सिंह के बयान पर पलटवार करते हुए कहा कि गजेंद्र सिंह के बयान से साफ हो गया है कि उनकी राजस्थान में सरकार गिराने की साजिश थी और वे इस साजिश का हिस्सा थे। सरकार गिराने की साजिश में शामिल होने की बात खुद ने स्वीकार कर ली। इससे बड़ी बात क्या हो सकती है। लेकिन राजस्थान में कांग्रेस के सभी विधायक किसी झांसे में नहीं आए और सरकार बचाने में कामयाब रहे।