पानी को ट्रीट करने के लिए 60 किलोमीटर पाईप लाइन बिछाई
भिवाड़ी । (राजेश शर्मा वरिष्ठ संवाददाता) भिवाड़ी में लम्बे समय से जलभराव और प्रदूषित जल की समस्या नासूर बनी हुई थी। जिसे प्रार्थमिकता पर रखते हुए एक प्रभावी कार्य योजना तैयार की गई। राजस्थान राज्य प्रदूषण नियंत्रण मंडल के अध्यक्ष शिखर अग्रवाल ने हाल ही मे जल प्रदूषण की गंभीर स्थिति को लेकर बड़े पैमाने पर की मंडल के अधिकारियों ने मौक़े पर जाकर स्थिति का निरीक्षण किया और विभिन्न विभागों के साथ मिलकर समाधान की दिशा मे सक्रिय प्रयास किये। भिवाड़ी जिला प्रशासन ,रिको, बीड़ा और अन्य सम्बन्धित विभागों के साथ मिलकर समय समय पर बैठके आयोजित की गई। और आवश्यक दिशा – निर्देश प्रदान किये गये।
इसके परिणामस्वरूप, बारिश के बाद ड्रनेज के पानी की गुणवत्ता मे काफी सुधार देखा गया।जो कि संयुक्त प्रयासो की सफलता को दर्शाता है। मंडल के सदस्य सचिव एन विजय ने कहा कि राज्य मे प्रदूषण मुक्त वातावरण को सुनिश्चित करने और उद्योगों मे स्थाई प्रथाओ को बढ़ावा देने के लिए निरंतर प्रयास किये जा रहे है। आर ओ अमित शर्मा ने बताया कि जल प्रदूषण की समस्या को गंभीरता से लेते हुए सी ई टी पी को 6 एम एल डी क्षमता को जेड एम एल डी मे रूपांतरित किया गया है। औद्योगिक इकाइयों द्वारा निकलने वाले प्रदूषित पानी को ट्रीट कर वापस उपयोग मे लाने के लिए 60 किलोमीटर की पाईप लाइन स्थापित की गई है। इसके अलावा 100 किलोमीटर की लाइन ट्रिटेड पानी की आपूर्ति के लिए बिछाई गई है। इसके साथ ही स्थानीय प्रशासन ने 16 निगरानी दलो का गठन किया है। जो उद्योगों के प्रदूषित पानी को नालो मे छोड़ने की स्थिति पर कड़ी निगरानी रखेंगे।1006 उद्योगों के पानी छोड़ने के अन्य आउटलेट को बंद किया गया है। और नियमो का उलंघन करने वाले उद्योगों पर सख्त कार्यवाही की गई है। इस दिशा मे खैरथल – तिजारा जिला कलेक्टर डॉक्टर अर्तिका शुक्ला का भी महत्वपूर्ण योगदान रहा है।